SCHOOL LECTURER EXAM PAPER-1
NOTES SERIES #2
TOPIC- Ancient Indian education system
बौद्धकालीन शिक्षा
👉बच्चों की प्राथमिक शिक्षा की व्यवस्था निशुल्क थी जबकि उच्च शिक्षा के छात्रों से शुल्क लिया जाता था.
👉बच्चे शिक्षा हेतु
परिवार छोड़कर मठ अथवा विहार में जाते थे ,जहां
प्रवेश के समय होने वाले संस्कार को पबज्जा संस्कार कहा जाता था. इसमें छात्र अपने सिर के बाल मुड़वाता था, पीले वस्त्र धारण करता था.
👉उच्च शिक्षा में
प्रवेश हेतु एक प्रवेश परीक्षा संपन्न होती थी और योग्य छात्रों को उच्च शिक्षा
में प्रवेश दिया जाता था.
👉उपसम्पदा संस्कार - जब शिक्षार्थी प्रारंभिक शिक्षा पूर्ण कर उच्च शिक्षा में प्रवेश करता था तब किया जाने वाला संस्कार
👉बौद्ध काल में सभी धर्म व जातियों के बालकों के लिए शिक्षा प्राप्ति सुलभ थी । बौद्ध काल में पुरुषों की तरह स्त्रियों के लिए भी समान शिक्षा की व्यवस्था होती थी।
👉बौद्ध काल में
बोलचाल की भाषा पाली थी जिसे शिक्षा का माध्यम
बनाया.
👉बौद्ध काल में
शिक्षार्थियों को श्रमण अथवा सामनेर कहा जाता था.